अलीगढ़ के जहरीली शराब कांड में मौतों का सिलसिला जारी
अलीगढ़ में जहरीली शराब के सेवन से हो रही मौतों का सिलसिला जारी है। गुरुवार तड़के मेडिकल कॉलेज में पति पत्नी सहित पांच और लोगों ने दम तोड़ दिया। जहरीली शराब से 87 लोगों की पहले ही मौत हो चुकी है। एक दर्जन से ज्यादा लोगों की हालत जहरीली शराब के सेवन गंभीर बनी हुई है। उधर, शासन ने शराब कांड में लापरवाही उजागर होने पर संयुक्त आबकारी आयुक्त आगरा व उप आबकारी आयुक्त अलीगढ़ मंडल को निलंबित करते हुए विभागीय जांच बैठा दी है।
देशी शराब के ठेकों से बिकी जहरीली शराब से हुई मौतों के बाद प्रशासन अब पुराने देशी शराब के स्टॉक को जब्त करने में जुटा हुआ है। इसी बीच बुधवार रात जवां थाना क्षेत्र में नहर के किनारे देशी शराब की पेटियां पड़े होने की सूचना पर पुलिस पहुंची।
जानकारी करने पर पता चला कि पास के गांव मुंशी पुर में भट्टे के मजदूर शराब की पेटियों को उठाकर ले गए थे। इस शराब के सेवन की वजह से 20 से ज्यादा लोगों की हालत बिगड़ गई। जिन्हें मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया गया। गुरुवार सुबह इनमें से पति-पत्नी सहित पांच ने दम तोड़ दिया। ये सभी रहने वाले बिहार के बताए गए हैं।
शराब कांड के आरोपी 50 हजारी विपिन यादव ने पुलिस को पूछताछ में जहरीली शराब तैयार करने को मिथाइल एल्कोहल की सप्लाई के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी दी। दो दिन पहले पुलिस, प्रशासन, आबकारी की संयुक्त टीमों ने तालानगरी औद्योगिक क्षेत्र में वरदान इंक प्राइवेट लिमिटेड पर छापा मारा था। जहां से 203 ड्रम एथाइल एल्कोहल, स्प्रिट व कई हानिकारक केमिकल बरामद किए गए हैं। पुलिस के अनुसार फैक्ट्री पर सेनेटाइजर निर्माण के लिए आर्येुवद विभाग से लाइसेंस है, लेकिन आबकारी विभाग से स्प्रिट रखने की परमिट व एल्कोहल रखने व बिक्री करने का कोई लाइसेंस नहीं मिला। पुलिस ने फैक्ट्री मालिक विजेन्द्र कपूर व एकाउंटेंट राकेश शर्मा को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया।